SSC Students Protest Latest Update

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 छात्रों का विरोध प्रदर्शन 2025:

2025 में स्टाफ सिलेक्शन कमीशन (SSC) की चयन प्रक्रिया को लेकर देशभर में छात्रों का गुस्सा फूट पड़ा। SSC चयन पोस्ट फेज़ 13 परीक्षा में भारी अव्यवस्था और तकनीकी खामियों के चलते हजारों छात्रों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया। यह आंदोलन सिर्फ एक परीक्षा की विफलता नहीं, बल्कि एक पूरे सिस्टम की जवाबदेही पर सवाल उठाने वाला बन गया।



🔍 विरोध की वजह क्या थी?

SSC चयन पोस्ट फेज़ 13 परीक्षा, जो 24 जुलाई से 1 अगस्त 2025 के बीच आयोजित की गई थी, में कई गंभीर समस्याएं सामने आईं:

  • बिना सूचना के परीक्षा रद्द कर दी गई

  • तकनीकी खराबियाँ जैसे सर्वर क्रैश, स्क्रीन फ्रीज़, और उपकरणों की विफलता

  • परीक्षा केंद्रों की खराब स्थिति, जिसमें अस्वच्छ और असुरक्षित माहौल शामिल था

  • बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन में गड़बड़ी और डेटा प्रबंधन में लापरवाही

  • Inapporiate  परीक्षा केंद्र आवंटन, जैसे एक छात्र को जयपुर से अंडमान निकोबार भेजा गया

  • छात्रों के साथ मारपीट की गई

  • कई छात्रों ने यात्रा और ठहरने पर पैसे खर्च किए, लेकिन परीक्षा रद्द हो गई

  • घंटों इंतज़ार के बाद भी कोई सूचना नहीं दी गई

  • कुछ छात्रों को सुरक्षा कर्मियों द्वारा चुप कराने या धक्का देने की शिकायतें मिलीं

  • 55,000 से अधिक शिकायतें SSC को भेजी गईं

🏢 SSC की प्रतिक्रिया :- 

SSC के चेयरमैन एस. गोपालकृष्णन ने अव्यवस्था को स्वीकार करते हुए कहा:

  • फेज़ 13 की परीक्षा रद्द नहीं की जाएगी

  • प्रभावित छात्रों के लिए री-टेस्ट आयोजित किए जाएंग

  • परीक्षा संचालन कंपनी Eduquity Career Technologies पर जुर्माना लगाया जाएगा

हालाँकि, Eduquity को हटाने की माँग को SSC ने यह कहकर टाल दिया कि प्रक्रिया के बीच में कंपनी बदलना संभव नहीं है।

छात्र एसएससी अध्यक्ष के जवाब का इंतज़ार कर रहे हैं। उनके पास सिर्फ़ मौखिक पुष्टि है। उनके पास कोई लिखित पुष्टि नहीं है। एसएससी ने पुष्टि की थी कि वह एक हफ़्ते के अंदर इस संबंध में नोटिस जारी करेंगे। लेकिन यह बयान झूठा लग रहा है। पाँच दिन बीत चुके हैं, अभी तक कोई नोटिस जारी नहीं किया गया है।

4 अगस्त को, अभिनय सर, राकेश यादव, नवीन शर्मा, नीतू मैम, गगन प्रताप, आदित्य रंजन, गुरुकुल के रैंकर्स समेत कई शिक्षकों ने इसका फिर से विरोध किया। उन्हें हिरासत में भी लिया गया। उन्हें लगभग 4-5 घंटे तक शहर में घुमाया गया। पुलिस ने किसी भी मेडिकल इमरजेंसी की बात नहीं मानी। उन्होंने बाथरूम जाने की भी इजाज़त नहीं दी। और न ही उन्हें पानी पीने दिया गया। इससे छात्र और भी नाराज़ हो गए।


अब देखना ये है कि सरकार इस बारे में क्या करती है। इस विरोध प्रदर्शन को राष्ट्रीय मीडिया, यूट्यूब मीडिया और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म पर भी कवर किया गया।



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